आरती कुंजबिहारी की : Aarti of Kunj Bihari : कुंजबिहारी असल में यह आरती श्री कृष्णा जी की ही है और हम इनको कुंजविहारी के नाम से भी जानते है। ( Kunj Bihari ) कुंजबिहारी आरतीआरती कुंजबिहारी की,
श्री गिरिधर कृष्ण मुरारी की ॥
आरती कुंजबिहारी की,
श्री गिरिधर कृष्ण मुरारी की ॥
गले...
जय जगदीश हरे : Jai Jagadish Hare : ॐ जय जगदीश हरे , इस आरती का प्रकाशन गीताप्रेस से हुआ। इसके रचनाकार भक्त स्वामी शिवानन्द सरस्वती हैं। वे इसे अपने प्रवचन के बाद गाते थे। ( Jai Jagadish Hare ) आरती : श्री विष्णु भगवान् - जय जगदीश हरे, प्रभु!...
संतोषी माता की आरती : Santoshi Mata ki Aarti : संतोषी माता सनातन धर्म में एक देवी हैं जो भगवान शंकर तथा देवी पार्वती की पौत्री , उनके सबसे छोटे पुत्र भगवान गणेश और गणेश जी की पत्नी ऋद्धि , सिद्धि की पुत्री , कार्तिकेय , अशोकसुन्दरी , अय्यापा...
अम्बे गौरी आरती : Ambe Gauri Aarti : माँ दुर्गाजी की आठवीं शक्ति का नाम महागौरी है। दुर्गापूजा के आठवें दिन महागौरी की उपासना का विधान है। इनकी शक्ति अमोघ और सद्यः फलदायिनी है। इनकी उपासना से भक्तों के सभी कल्मष धुल जाते हैं, पूर्वसंचित पाप भी विनष्ट हो...